यशस्वी जायसवाल बायोग्राफी – Yashasvi Jaiswal Biography

यशस्वी जायसवाल भारतीय क्रिकेट जगत के एक उभरते सितारे हैं, जिनकी जीवन यात्रा संघर्ष, समर्पण और सफलता की प्रेरणादायक कहानी है। उत्तर प्रदेश के एक छोटे से गांव से निकलकर, उन्होंने अपनी मेहनत और प्रतिभा के बल पर राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान बनाई है।
यशस्वी जायसवाल | |
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पूरा नाम | यशस्वी भूपेंद्र कुमार जायसवाल |
जन्म तिथि | 28 दिसंबर 2001 |
जन्म स्थान | भदोही, उत्तर प्रदेश, भारत |
राष्ट्रीयता | भारतीय |
बैटिंग स्टाइल | बाएं हाथ के बल्लेबाज |
बॉलिंग स्टाइल | दाएं हाथ के लेग ब्रेक गेंदबाज |
भूमिका | ओपनिंग बल्लेबाज |
टीमें | भारत, राजस्थान रॉयल्स, मुंबई |
अंतरराष्ट्रीय डेब्यू | टेस्ट: 12 जुलाई 2023 बनाम वेस्ट इंडीज |
घरेलू डेब्यू | 2019 – मुंबई |
जर्सी नंबर | 64 |
उपलब्धियां | डोमेस्टिक क्रिकेट में सबसे कम उम्र में दोहरा शतक (List A), शानदार टेस्ट डेब्यू, IPL स्टार |
प्रेरणा | सचिन तेंडुलकर |
इनकम (2025 अनुमानित) | ₹10-15 करोड़ (IPL, BCCI सैलरी, एंडोर्समेंट्स) |
सोशल मीडिया | Instagram | Twitter |
यशस्वी जायसवाल प्रारंभिक जीवन
28 दिसंबर 2001 को उत्तर प्रदेश के भदोही जिले के सुरियावां गांव में यशस्वी भूपेंद्र कुमार जायसवाल का जन्म हुआ। उनके पिता, भूपेंद्र कुमार जायसवाल, गांव में हार्डवेयर की एक छोटी सी दुकान चलाते थे, जिससे परिवार का पालन-पोषण मुश्किल से होता था। यशस्वी छह भाई-बहनों में चौथे नंबर पर हैं। गरीबी के बावजूद, यशस्वी का झुकाव बचपन से ही क्रिकेट की ओर था। 10 वर्ष की उम्र में, उन्होंने मुंबई में क्रिकेट प्रशिक्षण लेने का निर्णय लिया, जहां उनकी संघर्षपूर्ण यात्रा की शुरुआत हुई।
यशस्वी जायसवाल मुंबई में संघर्ष
मुंबई पहुंचने पर, यशस्वी ने आजाद मैदान में क्रिकेट की ट्रेनिंग लेना शुरू किया। शुरुआत में, वे दादर में अपने चाचा के घर रहे, लेकिन मैदान से दूरी के कारण उन्होंने कालबादेवी में एक डेयरी में काम करना शुरू किया। डेयरी के काम के साथ क्रिकेट अभ्यास करना चुनौतीपूर्ण था, और अंततः उन्हें डेयरी से निकाल दिया गया। इसके बाद, उन्होंने ग्राउंड्समैन के टेंट में रात बिताई और खर्चे पूरे करने के लिए पानीपुरी भी बेची। इन कठिन परिस्थितियों में भी, उनकी क्रिकेट के प्रति प्रतिबद्धता अडिग रही।
कोच ज्वाला सिंह का मार्गदर्शन
एक दिन, कोच ज्वाला सिंह की नजर यशस्वी पर पड़ी, जो नेट्स पर अभ्यास कर रहे थे। कोच ने उनकी प्रतिभा को पहचाना और उन्हें अपने घर में रहने और प्रशिक्षण देने का प्रस्ताव दिया। ज्वाला सिंह ने न केवल यशस्वी की क्रिकेट क्षमता को निखारा, बल्कि उनकी व्यक्तिगत जरूरतों का भी ध्यान रखा। उनके मार्गदर्शन में, यशस्वी ने हैरिस शील्ड टूर्नामेंट में नाबाद 319 रन बनाये, जो किसी स्कूल टूर्नामेंट में अब तक का सर्वोच्च स्कोर था। इस प्रदर्शन के कारण, उनका नाम लिम्का बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में दर्ज हुआ।
घरेलू क्रिकेट में सफलता
यशस्वी की कड़ी मेहनत रंग लाई, और उन्हें मुंबई अंडर-16 और बाद में अंडर-19 टीम में स्थान मिला। 2018 में, उन्होंने अंडर-19 एशिया कप में भारत के लिए 85 रन की महत्वपूर्ण पारी खेली, जिसके लिए उन्हें मैन ऑफ द मैच का अवॉर्ड मिला। 2020 में, उन्होंने विजय हजारे ट्रॉफी में झारखंड के खिलाफ दोहरा शतक (203 रन) बनाकर लिस्ट ए क्रिकेट में दोहरा शतक बनाने वाले सबसे युवा खिलाड़ी बन गए।
इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) में पदार्पण:
2020 में, राजस्थान रॉयल्स ने यशस्वी को 2.4 करोड़ रुपये में खरीदा। 2023 में, उन्होंने मुंबई इंडियंस के खिलाफ 62 गेंदों में 124 रन बनाकर आईपीएल में अपना पहला शतक जमाया। उसी वर्ष, उन्होंने कोलकाता नाइट राइडर्स के खिलाफ 13 गेंदों में अर्धशतक बनाकर आईपीएल इतिहास की सबसे तेज फिफ्टी का रिकॉर्ड भी बनाया।
अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में पदार्पण:
2023 में, यशस्वी ने वेस्टइंडीज के खिलाफ टेस्ट क्रिकेट में पदार्पण किया। अपने पहले ही टेस्ट मैच में, उन्होंने शतक बनाकर सबसे युवा भारतीय खिलाड़ी के रूप में यह उपलब्धि हासिल की।
पुरस्कार और सम्मान:
- आईसीसी अंडर-19 क्रिकेट वर्ल्ड कप 2020: सर्वाधिक रन बनाने वाले बल्लेबाज।
- विजय हजारे ट्रॉफी 2020: झारखंड के खिलाफ दोहरा शतक।
- आईपीएल 2023: मुंबई इंडियंस के खिलाफ 124 रन की पारी और कोलकाता नाइट राइडर्स के खिलाफ तेज अर्धशतक।
व्यक्तिगत जीवन और प्रेरणा
यशस्वी जायसवाल की कहानी संघर्ष और समर्पण की मिसाल है। गरीब परिवार से आने के बावजूद, उन्होंने अपने सपनों को साकार करने के लिए कठिनाइयों का सामना किया। उनकी यात्रा यह सिद्ध करती है कि कठिन परिश्रम, समर्पण और सकारात्मक दृष्टिकोण से किसी भी लक्ष्य को प्राप्त किया जा सकता है।